Monday 24 January 2022

घनघोर अंधियारा हैं कोई दीप जलाता ही नहीं !! लगता हैं इस राह , कोई आता ही नहीं !!


घनघोर अंधियारा हैं कोई दीप जलाता ही नहीं !!

लगता हैं इस राह , कोई आता ही नहीं !!

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